फरीदाबाद में करीब 4 हजार मकानों पर मंडरा रहा बाढ़ का खतरा, यमुना से छोड़ा गया 8 लाख 30 हजार क्यूसेक पानी

ख़बरें अभी तक। यमुना में बढ़ते जलस्तर के बाद दिल्ली से सटे फरीदाबाद में भी करीब 4 हजार मकानों पर बाढ़ का खतरा मंडरा रहा है। पिछले साल कि यदि बात करें तो पूरे बसंतपुर क्षेत्र में बाढ़ का पानी सभी घरों तक पहुंच गया था। हालात इस बार उससे भी ज्यादा खराब होने वाले हैं क्योंकि पिछली बार यमुना में करीब 6 लाख क्यूसेक पानी छोड़ा गया था लेकिन इस बार 8 लाख 30 हजार क्यूसेक पानी छोड़ा गया है। जिससे और भी ज्यादा फरीदाबाद में यमुना की बाढ़ से हालात बिगड़ने वाले हैं। इन सबको देखते हुए जिला प्रशासन की तरफ से भी तैयारियां मुकम्मल करने का दावा किया जा रहा है। पूरे क्षेत्र में मुनादी कराई जा रही है। मकानों को खाली करने के आदेश दिए गए हैं। उन लोगों को सरकारी स्कूलों और टेंट लगाकर उनमें रखे जाने के प्रबंध किए जा रहे हैं।

यमुना से लगते हुए इस क्षेत्र में रह रहे लोगों की माने तो उन्हें प्रॉपर्टी डीलरों द्वारा बड़े-बड़े सपने दिखाकर उन्हें जमीन बेच दी गई। अब वे यहां मकान बनाकर रहने लगे हैं, लेकिन यमुना में जैसे ही जलस्तर बढ़ता है उनके परेशानी बढ़नी शुरू हो जाती हैं। चिंता की लकीरें माथे पर साफ तौर से दिखने लगती हैं। उनके सामने भी मजबूरी यह है कि वह ऐसे में बच्चों को लेकर जाएं तो जाएं कहां और घर में रखे सामान को आखिर कहां लेकर जाए।

इसके अलावा कुछ तस्वीरें यहां ऐसी भी देखने को मिली जो लोग अब इस क्षेत्र को छोड़कर जाना चाहते हैं। बाकायदा कई मकानों पर ये मकान बिकाऊ है, लिखा हुआ दिख जाएगा। जिस तरह से डीलरों ने इन्हें सपने दिखाकर जमीन बेची गई और उन्होंने मकान बना लिए लेकिन यहां बिजली पहुंची, ना ही पानी पहुंचा है और रास्ते भी खराब है। ऊपर से हर साल यमुना का बढ़ता जलस्तर। जिसकी वजह से बाढ़ का पानी उनके घरों में आ जाता है।इसीलिए लोग अब इन मकानों को बेचकर जाना चाहते हैं।