‘हिमाचल में तिब्बतियों को परिवार की तरह प्यार मिला’

ख़बरें अभी तक। भारत की दाल-रोटी खाकर तिब्बती लोगों की भी बुद्धिमता भारतीय हो गयी है। तिब्बती समुदाय के लिए जो भारत देश ने किया है वह कोई दूसरा देश नहीं कर सकता भारत की इस महानता के लिए तिब्बत के लोग हमेशा आभारी रहेंगे। दलाई लामा भी खुद को भारत का बेटा मानते है। ये बात तिब्बत के प्रधानमंत्री ने शिमला में आयोजित “धन्यवाद हिमाचल” कार्यक्रम में कही। हिमाचल प्रदेश में 60 साल से तिब्बतियों को शरण देने के लिए तिब्बती समुदाय ने शिमला के रिज मैदान में एक कार्यक्रम आयोजित किया जिसमें प्रधानमंत्री लोब सांग सांगेय ने हिमाचल प्रदेश सरकार और लोगों का तिब्बतियों को शरण देने के लिए धन्यवाद किया।

तिब्बत के प्रधानमंत्री ने शिमला में कहा है कि भारत तिब्बतियों का दूसरा घर है। हिमाचल में तिब्बतियों को परिवार की तरह प्यार मिला है जिसका हम तह दिल से धन्यवाद करते हैं। दलाई लामा तिब्बत की देव भूमि लासा से दूसरी देवभूमि हिमाचल प्रदेश आये है। इसलिए दलाई लामा खुद को भारत का बेटा मानते है। तिब्बतियन लगातार तिब्बत की आज़ादी के लिए संघर्ष कर रहे है। वहीं तिब्बतियों के तीसरे गुरु करमापा के विषय पर सांगेय ने कहा कि वे जल्द भारत वापिस लौटेंगे और नवम्बर में धर्मशाला में होने वाली तिब्बती धार्मिक कार्यक्रम में भाग लेंगे।

कार्यक्रम में मुख्यातिथि के रूप में पहुंचे राज्यपाल ने कहा कि अतिथि भारत के लिए देवता सम्मान होते हैं और तिब्बत तो भारत का पड़ोसी भी है मित्र भी। मानव सभ्यता का विकास तिब्बत से हुआ है उसके बाद पूरे विश्व में सभ्यता जानी। तिब्बती भारत की प्रगति में अपनी अहम भूमिका निभा रहा है और भारत तिब्बतियों का भी देश है। दुनिया में शांति केवल एकता में ही है।

कार्यक्रम में भाग लेने पहुंचे पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह ने कहा कि भारत और तिब्बत का रिश्ता बहुत प्राचीन है। तिब्बत के लोग ख़राब हालात के चलते भारत आये थे, मुझे उम्मीद है तिब्बत के हालत जल्द ठीक होंगे और ये लोग वापिस अपने मात्रभूमि में जा पाएंगे। हिमाचल प्रदेश में लगभग 12 हजार तिब्बती समुदाय के लोग रहते हैं। तिब्बत में चीन द्वारा कब्ज़ा करने पर 60 साल पहले धर्मगुरु दलाई लामा शरणार्थी के तौर रहने आये थे। रिज मैदान पर तिब्बती समुदाय ने अपने उत्पादों की प्रदर्शनी भी लगायी है। कार्यक्रम में धर्मगुरु दलाई लामा का सन्देश भी लोगों को सुनाया गया।