धनावल गांव में जोरों शोरों से मनाया गया ईद का त्योहार

ख़बरें अभी तक। यूं तो आज पूरे देश में ईद मनाई जा रही है यह एक इस्लामिक धर्म का बहुत ही खास त्योहार होता हैं जो कि पूरे साल में दो बार मनाया जाता है एक ईद-उल-फितर और एक ईद-उल-जुहा इस दिन लोग एक दूसरे को मिठाइयां बांटते हैं और एक दूसरे के गले लगते हैं अगर किसी को किसी के के साथ कोई गिला शिकवा हो तो उसे भी इस दिन माफ कर देते हैं और गले से लगाकर ईद मुबारक कहते हैं बात करते हैं सलूणी क्षेत्र के अंतर्गत आने वाला धनावल गांव जहां पर आज बहुत ही जोरों शोरों से ईद उल जुहाह का त्योहार मनाया गया.

ईद उल जुहाह की नमाज पढ़ने के लिए दूर दराज से लोग गांव में इकट्ठा हुए यह करीब 600 लोगों ईद की नमाज अदा की लोगों ने एक दूसरे को गले लगाया एक दूसरे को ईद मुबारक कहा यह त्योहार किसी इस्लाम धर्म का ही नहीं है परंतु ईद-उल-फितर और ईद उल जुहाह को हर कोई इंसान मनाता है. ईद उल फितर रमजान के 30 रोजे खत्म होने के बाद मनाया जाता है और ईद उल जुहाह ईद उल फ़ितर के ढाई महीने बाद मनाया जाता है.

यह त्योहार लोगों को एक दूसरे से मिल जुलकर जीना सिखाता है और किसी से लड़ाई झगड़ा ना करें किसी के खिलाफ कुछ गलत ना सोचे यह सिखाता है. फिलहाल इस्लाम धर्म के लोगों में बहुत ज्यादा खुशी है कि वह आज ईद मना रहे हैं और यह ईद एक हफ्ते तक मनाते रहेंगे. वहीं दूसरी और स्थानीय निवासियों का कहना है कि आज हम सभी लोग बहुत खुश है एक दूसरे को गले लगा रहे है और ईद मुबारक कह रहे है यह त्योहार हम सब को एक दूसरे से प्यार से रहना सिखाता है यह त्योहार हिन्दू मुस्लिम सिख ईसाई को एक साथ रहना सिखाता है सभी देशवासियों को ईद की हार्दिक शुभकामनाएं.