मोरनी गैंगरेप मामला: सामने आएगी देह व्यापार की पूरी सच्चाई

ख़बरें अभी तक। पंचकूला- मोरनी गैंगरेप मामले से पर्दा उठा,तो पति ही निकला प्लान का मास्टरमाइंड रुपयों के लेनदेन को लेकर ईजाद किया था तुरप का ये पैंतरा, पंचकूला पुलिस ने सख्ती बरती तो बेपर्दा हुआ पति का पूरा गुनाह पत्नी से ही करवाता था वेश्यावृति. आरोपी पति पहुंच चुका है सलाखों के पीछे 3 दिन के पुलिस रिमांड के दौरान आरोपी से पूछे जाएंगे कई अहम सवाल……..

सवाल :

नम्बर1-  कब से जुड़ा है, वेश्यावृति के इस अवैध कारोबार से

नम्बर2- और कौन-2 लोग शामिल हैं इस पूरे खेल में

नम्बर3- कितनी लड़कियों व महिलाओं से है सम्पर्क ओर कहाँ-2 की हैं सब,उनकी डिटेल

नम्बर4- कहां-2 भेजी जाती थी लड़कियां

नम्बर5- कोई बड़ा चेहरा

नम्बर6- कितने होटलों से था सम्पर्क

नम्बर7- किसका कितना था रेट

नम्बर8- रोजाना कितनी महिलाओं का किया जाता था सौदा

नम्बर9- अपनी मर्जी से आने वाली कितनी संख्या

नम्बर10- मजबूरी को देख कितनी महिलाओं को दलदल में धकेला

नम्बर11- पंचकूला शहर के किन होटलों में है सम्पर्क

नम्बर12- पंचकूला के अलावा और कहाँ-2 भेजी जाती थी

नम्बर13- लवली गेस्ट हाउस के मालिक सन्नी से कब से था सम्पर्क

नम्बर14-किस बात पर सन्नी से हुआ मनमुटाव

नम्बर15-पत्नी को कब से भेजा वेश्यावृति के लिए

नम्बर16-अपनी मर्जी से जाती थी या जबरदस्ती भेजा जाता था

इसके अलावा पुलिस ने तैयार की है सवालों की लंबी चौड़ी लिस्ट, जिनके जवाब अब इस मामले के मुख्य आरोपी इरफान को पुलिस के सामने देने होंगे, वहीं मामले में दूसरा पेच अभी बाकी है,पति–पत्नी द्वारा मिलकर 40 लोगों द्वारा नशा खिलाकर व बंधक बनाकर झूठी कहानी गढ़ पुलिस व पूरे देश को गुमराह करने का, मामले की गूंज दिल्ली तक जा पहुंची, सियासत भी खूब गरमाई, अब बारी पीड़िता की भी गुमराह करने की है, कानून विशेषज्ञों की मानें तो पीड़िता बनकर युवती ने जिस तरह पुलिस, प्रशासन व मीडिया व देश को गुमराह किया, उसकी एवज में ipc की धारा 182 तो युवती पर भी बनती है, जाहिर सी बात है पुख्ता प्रूफ हाथ लगने के बाद पुलिस महिला के खिलाफ भी कानूनी कार्रवाई जरूर करेगी, जिसमें सज़ा के साथ-2जुर्माने का भी प्रावधान है, इंतजार है आखिर पुलिस कब युवती को गिरफ्तार कर गुमराह करने की सज़ा दिला पाती है?

ये है ipc की धारा 182……

इंडियन कानून धारा 182 आईपीसी-इंडियन पीनल कोड-लोक सेवक को अपनी विधिपूर्ण शक्ति का उपयोग दूसरे व्यक्ति की क्षति करने के आशय से झूठी सूचना देना.

विवरण

जो भी कोई किसी लोक सेवक को कोई ऐसी सूचना, जिसके निराधार होने का उसे ज्ञान या विश्वास है, इस आशय से देगा कि वह उस लोक सेवक को प्रेरित करे या यह सम्भाव्य जानते हुए देगा कि वह उस लोक सेवक को द्वारा प्रेरित करे कि वह कोई ऐसी काम करे या छोड़े जिसे वह लोक सेवक, यदि उसे उस संबंध में, जिसके बारे में ऐसी सूचना दी गई है, तथ्यों की सही स्थिति का पता होता तो न करता या छोड़ता, अथवा ऐसे लोक सेवक की विधिपूर्ण शक्ति का उपयोग करे जिस उपयोग से किसी व्यक्ति को क्षति या क्षोभ हो, तो उसे किसी एक अवधि के लिए कारावास की सजा जिसे छह महीने तक बढ़ाया जा सकता है, या एक हजार रुपए तक का आर्थिक दंड, या दोनों से, दण्डित किया जाएगा.

लागू अपराध……..

गैरकानूनी जनसमूह का सदस्य होना

सजा- छह महीने कारावास या एक हजार रुपए तक का आर्थिक दंड या दोनों

यह एक जमानती, गैर-संज्ञेय अपराध है और किसी भी मजिस्ट्रेट द्वारा विचारणीय है.

यह अपराध समझौता करने योग्य नहीं है