मोरनी गैंगरेप मामला: हरियाणा पुलिस के अधिकारी महिला थाना एसएचओ को बचाने में लगे

ख़बरें अभी तक। पंचकूला पुलिस के मना करने पर जब पीड़ित का पति मनीमाजरा पुलिस थानें में गया था, तो यहां एसएचओ रणजीत सिंह ने पंचकूला महिला थाना प्रभारी राजेश कुमारी से कॉल कर बात की थी. जिसमें पंचकूला पुलिस की ओर से बताया गया था, कि इस मामले को मनीमाजरा पुलिस दर्ज करे, जबकि गैंगरेप पंचकूला में हुआ था.

पहले भी महिला थाना एसएचओ राजेश कुमारी के पास से जुलाई माह में ही महिला थाने के अंदर से ही एक आरोपी भाग गया था, लेकिन इस आरोपी को अभी तक अरेस्ट नहीं किया, डीसीपी पुलिस थाने में पहुंचे और राजेश कुमारी के सस्पेंड के ऑर्डर भी जारी किए गए, लेकिन पुलिस कमिश्नर ने ऑर्डर को कैंसिल किया.

राजेश कुमारी ने हरियाणा पुलिस के आला अधिकारियों से मिलकर अपने ऑर्डर पुलिस हेडक्वार्टर के करवा लिए. इन ऑर्डर के हिसाब से अभी तक पंचकूला डीसीपी और पुलिस कमिश्नर ने इन्हें नहीं किया है रिलीव.

एक एडीजीपी ने इसी मसले में पंचकूला पुलिस के अधिकारियों की मीटिंग ली. जिसमें एक एसीपी लेवल अधिकारी और एसएचओ महिला थाना की लगाई गई क्लास. मीटिंग में निकलकर सामने आया इस मामले में एसएचओ महिला थाना राजेश कुमारी ने एसीपी लेवल के अधिकारी को भी बताया था.

जिसके बाद भी एफआईआर नहीं की गई.जिस पर एडीजीपी ने इन अधिकारियों को फटकार लगाई. जिस दिन महिला का पति शिकायत देने के लिए आया था, उसी दिन एएसआई ने एसएचओ को इस बारे में बताया था और उसके बाद एसएचओ ने एसीपी लेवल अधिकारी को बताया था.