यूपी सरकार के लाख दावों के बावजूद शिक्षा व्यवस्था का बुरा हाल

खबरें अभी तक। भारी अव्यवस्थाओं के बीच श्रावस्ती में भी शिक्षा सत्र की शुरूआत हो चुकी है। लेकिन यूपी सरकार के लाख दावों के बावजूद शिक्षा व्यवस्था अब भी पटरी पर नहीं लौट सकी है। शायद यही वजह है कि सारे संसाधनों के बावजूद भी अभिभावकों का पारषदीय विद्यालयों से मोह भंग हो रहा है। श्रावस्ती में जमुनहा शिक्षा क्षेत्र के अधिकांश सरकारी विद्यालयों में बारिश की वजह से जलभराव की स्थिति तो बनी ही हुई है। जिससे बच्चों की उपस्थिति विद्यालय में न के बराबर है। बावजूद इसके मध्यान्ह भोजन रजिस्टर कम्प्लीट दिखाया जा रहा है और कहीं कहीं पर विद्यालय बन्द मिला तो कहीं गुरुजन भी नदारद मिले।

शिक्षण कार्य का जायजा और जमीनी हकीकत से रूबरू होने के लिये मीडिया की टीम ने कुछ सरकारी विद्यालयों का रियालटी चेक किया।

भर्मण के दौरान जमुनहा शिक्षा क्षेत्र के प्राथमिक विद्यालय महदेवा में बच्चो की संख्या संतोषजनक पाई गई तो वहीं प्राथमिक विद्यालय सलारपुर के अध्यापक साहब अपना स्कूल बंद करके पूर्व प्राथमिक विद्यालय सलार पुर के प्रधानाध्यापक कक्ष में सोते हुए मीडिया के कैमरे में कैद हुए हैं।

साथ ही बच्चे नदारद और MDM शून्य रहा इसी के दौरान प्राथमिक व पूर्व प्राथमिक विद्यालय डंडेकुय्या में बच्चों की उपस्थित तो कम थी। परंतु MDM फिट रहा। वहीं प्राथमिक विद्यालय हरिहरपुर में बच्चे नदारद और MDM शून्य रहा। वहीं प्राथमिक व पूर्व विद्यालय मिर्ज़ापुर में भी बच्चों की संख्या कम रही। जबकि प्राथमिक विद्यालय पटपरगंज द्वितीय में ताला लटकता रहा तो वहीं प्राथमिक व पूर्व प्राथमिक विद्यालय बड़ा करनपुर में बच्चों की संख्या नदारद मिली। जबकि MDM रजिस्टर बिल्कुल कम्प्लीट दिखाई दिया।

अब बच्चे ही नहीं है स्कूल में तो फिर MDM कौन खाता है? बड़ा सवाल लेकिन इसका जवाब शायद किसी के पास नही या कोई देना नही चाहता? वहीं जब हमारे संवादाता ने इस बारे में ए.बीएस.ए से बात की तो उन्होंने कार्रवाई करने की बात कह कर अपना पल्ला झाड़ लिया। फ़िलहाल इन लापरवाह टीचर्स पर कार्रवाई कब तक होती है यह देखने वाली बात होगी।