यहां के किसान ‘मोती’ की खेती कर कमा रहे है भारी मुनाफा

ख़बरें अभी तक। ये हौसलों की उड़ान है जी हां जहां बीते कुछ सालों से पूरे देश मे जहां किसान सूखे और कर्ज की मार झेल भुखमरी और आत्महत्या जैसे कठोर कदम उठाने को लाचार है. वहीं दूसरी ओर गुड़गाव के किसान ने इस अति गंभीर हो चली समस्या के मध्यनजर खेती के तरीकों में महत्वपूर्ण बदलाव करते हुए मोती की खेती करनी शुरू की है, जिससे विनोद कम लागत में ज्यादा मुनाफा कमा उत्तर भारत के किसान भाइयों को मोती की खेती के लिए जागरूक करने का काम भी कर रहा है.

पटौदी के रहने वाले किसान भाई विनोद की माने तो आज खेती घाटे का सौदा बनती जा रही है. लगातार बढ़ते डीज़ल के दाम, बिजली के दाम, खाद की मार, बीज का समय से न मिलना, मौसम की मार किसानों की फसलों पर भी पड़ने लगी है जिससे किसान बैंको का साहूकारों का कर्ज़दार होता चला जा रहा है और इसी के चलते विनोद ने पटौदी के जमालपुर में मोती की खेती करना शुरू किया था और आज विनोद कम लागत में ज्यादा मुनाफा कमा रहे है.

वहीं मोती की खेती को करने से पहले विनोद ने इसकी ट्रेंनिग भुवनेशवर से ली जिसके बाद आज विनोद गुजरात और यूपी से सीप खरीद कर लाते है और टैंक. विनोद की माने तो एक सीप की कीमत तकरीबन 15 से 18 रुपए के करीब पड़ती है और एक मोती बनने की कुल लागत 60 रुपए के करीब आती है और मार्किट में यह मोती तकरीबन 16 सौ से 18 सौ के बीच बिक जाता है और पूरे देश मे मोती की भारी डिमांड है.

विनोद की माने तो पीएम मोदी के स्टार्टअप योजना से प्रभावित हो यह आइडिया उनके दिमाग मे आया और आज वो आस पास के किसान भाइयों को भी इसकी जानकारी सांझा कर इसकी खेती के लिए जागरूक करने जैसा महत्वपूर्ण काम भी करने में लगे है, विनोद की माने तो उत्तर भारत के किसान भाइयों को मोती की खेती के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं है और अब वह इस खेती के बारे में हरियाणा के साथ साथ पंजाब में भी किसान भाइयों को जागरूक करने का काम करेंगे.