पीलीभीत में अपने गेंहू को लेकर अन्नदाता हो रहे परेशान

ख़बरें अभी तक। पीलीभीत- अन्नदाताओं को गेंहू फसल का वाजिब मूल्य दिलाने के लिए पीलीभीत में सैंकड़ों क्रय केंन्द्र खोले गए है लेकिन किसानों को सरकार द्वारा घोषित गेंहू समर्थन मूल्य 1735 रूपए नहीं मिल पा रहे है मजबूरन किसानों को अपना गेंहू आढ़तियों व बिचैलियों को औने पौने दामों में बेचना पड़ रहा है. जो गेंहू क्रय केन्द्र खोले गए है वह या तो घरों के अन्दर खोल लिए गए या फिर राईस मिल के गोदामों में, जहां किसान नहीं पहुंच पा रहा है, शिकायत पर जिलाधिकारी ने एफआईआर के आदेश भी दिए लेकिन एडीएम ने जिलाधिकरी के एफआईआर के आदेश को हवा में उड़ा दिया और जांच का बहाना बनाकर मामले को दबा दिया.

वहीं जिले के डिप्टी आर एम ओ किसानों से हो रही लूटखसोट नहीं रोक पा रहे है वह भी मान रहे है कि किसानों से शिकायतें आ रही है जिसकी जांच कराई जा रही है. जिले में लगभग 130 गेंहू क्रय केन्द्र खोले गए. मानक अनुसार सार्वजनिक जगह में और बड़े-बड़े बैनर पर गेंहू क्रय केन्द्र लिखकर खोलने के आदेश थे जिससे किसानों को परेशानी न हो. लेकिन ज्यादातर केन्द्र घरों में या फिर गोदामों में संचालित है जो खुले में केन्द्र खोले गए है वहां किसानों से खर्च के नाम पर 100 से 200 रूपए वसूले जा रहे है. जिससे किसान मजबूरन अपना गेंहू आढ़ती को बेच रहा है.

एक तरफ प्रदेश के मुख्यमंत्री प्रदेश के तमाम जनपदों में घूम-घूम कर गेंहू क्रय केन्द्रों पर निरीक्षण कर किसानों को गेंहू का समर्थन मूल्य दिलाने का प्रयास कर रहे है लेकिन सरकारी मशीनरी सीएम की मंषा पर पानी फेर रही है जिसका खामियाजा किसानों को अपने खून पसीने की कमाई से सींची गई फसल को कोढ़ियों में बेचकर भुगतना पड़ रहा है.