अंतरिक्ष में फेल हुआ 270 करोड़ की लागत से बना इसरो का सैटेलाइट उपग्रह जीसैट-6A!

खबरें अभी तक। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान केंद्र (इसरो) आमतौर पर अपने उपग्रह के प्रक्षेपण के बाद उलके बारे में लगातार जानकारी देता रहता है, लेकिन संचार उपग्रह जीसैट-6ए के प्रक्षेपण के 48 घंटे बाद भी इसरो की ओर से इस बारे में कोई अपडेट नहीं दिया गया है. न्यूज रिपोर्ट्स के मुताबिक सैटेलाइट जीसैट-6ए के बारे में आखिरी अपडेट 30 मार्च को सुबह 9.22 मिनट पर मिला था, जब यह पहली कक्षा को पार किया. अभियान से जुड़े लोगों ने कहा कि सैटेलाइट ने दूसरी कक्षा को भी सामान्य तरीके से पार कर लिया, लेकिन इसके तुरंत बाद ही कुछ परेशानी सामने आई. ऐसे में अनुमान लगाया जा रहा है कि शायद सैटेलाइट में कोई तकनीकी खराबी आ गई है.

29 मार्च को हुआ था सफल प्रक्षेपण-
गौरतलब है कि भारत के संचार उपग्रह जीसैट-6 ए को अंतरिक्ष में ले जाने वाले भारतीय रॉकेट का आंध्र प्रदेश के श्रीहरिकोटा अंतरिक्ष केंद्र से गुरुवार (29 मार्च) की शाम सफल प्रक्षेपण किया गया था. जीएसएलवी रॉकेट लॉन्च की उलटी गिनती गुरुवार सुबह सामान्य रूप से जारी रही. भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) के अनुसार, उल्टी गिनती बुधवार (28 मार्च) दोपहर 1.56 बजे शुरू हुई थी. इस दौरान रॉकेट में ईंधन भरा गया और इसकी प्रणालियों की जांच की गई.

270 करोड़ की लागत से बना है उपग्रह-
270 करोड़ की लागत से बने 415.6 टन वजनी व 49.1 मीटर लंबे जीएसएलवी रॉकेट को आंध्र प्रदेश के श्रीहरिकोटा के दूसरे लांच पैड से शाम 4.56 बजे प्रक्षेपित किया गया था. रॉकेट प्रक्षेपण के करीब 17 मिनट बाद जीसैट-6ए उपग्रह को कक्षा में स्थापित कर दिया गया था. इसरो के मुताबिक, रॉकेट के दूसरे चरण में इस बार दो सुधार किए गए हैं, जिसमें उच्च गति के विकास इंजन और इलेक्ट्रोमैकेनिकल एक्ट्यूएशन सिस्टम (विद्युत प्रसंस्करण प्रणाली) शामिल है. इसरो ने कहा था कि जीसैट-6ए उपग्रह जीसैट-6 उपग्रह के समान हैं.