बिजली कर्मचारी का सरकार के विरुध काम का बहिष्कार

खबरें अभी तक।  उत्तर प्रदेश के 5 जिलों में बिजली के निजीकरण करने के सरकार के फैसले के खिलाफ बिजली कर्मचारी मंगलवार को काम का बहिष्कार करेंगे। विद्युत कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति के प्रवक्ता ने कहा कि लखनऊ, वाराणसी गोरखपुर, मेरठ और मुरादाबाद में विद्युत वितरण कम्पनियां मुनाफा कमा रही हैं जबकि आगरा में निजीकरण के बाद पावर कारपोरेशन को करोड़ों का नुकसान हो चुका है।

जानकारी के अनुसार नुकसान के बावजूद सरकार ने मुनाफा कमाने वाले शहरों का आगरा की तरह निजीकरण करने का निर्णय लिया है। निजीकरण के चलते पावर कारपोरेशन को 100 अरब का चूना लग चुका है। उन्होंने कहा कि कार्य बहिष्कार के दौरान यदि किसी भी कर्मचारी का कोई उत्पीड़न किया गया तो तमाम कर्मचारी और अभियन्ता बिना और कोई नोटिस दिए उसी समय अनिश्चितकालीन कार्य बहिष्कार करने के लिए बाध्य होंगे जिसकी सारी जिम्मेदारी सरकार की होगी।

प्रवक्ता ने कहा कि विद्युत उत्पादन गृहों, 765/400 के वी विद्युत उपकेन्द्रों तथा प्रणाली नियंत्रण की पाली में काम करने वाले कर्मचारियों और अभियन्ताओं को कार्य बहिष्कार कार्यक्रम से अलग रखा गया है। जिससे बिजली का ग्रिड पूरी तरह से ठप्प न हो। यदि सरकार अपना हठवादी रवैया नहीं छोड़ती तो आन्दोलन और तेज किया जाएगा जिससे होने वाले परिणामों की जिम्मेदारी सरकार की होगी।