नेहरू से लेकर पीएम मोदी तक इन चार पीएम को क्यों है मनाली से खास लगाव

खबरें अभी तक। मनाली.. खूबसूरती का एक ऐसा नाम जो हर किसी को दीवाना बना देता है, जिसके बारे में बताना शुरू करें तो शब्द कम पड़ जाएंगे. इस भूमि को और भी खास बनाता है देश के प्रधानमंत्रियों का प्रेम. देश के पहले प्रधानमंत्री पंडित जवाहर लाल नेहरू से लेकर से लेकर मौजूदा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का मनाली से गहरा रिश्ता रहा है. मनाली देश के 4 प्रधानमंत्रियों की पसंदीदा सैरगाह रही है.

मनाली का सर्किट हाउस. बरसों पुराने इस सर्किट हाउस में देश के पहले प्रधानमंत्री पंडित जवाहर लाल नेहरू से जुड़ी यादें आज भी मौजूद हैं. नेहरू जब भी मनाली आते थे तो यहीं पर रुका करते थे. यहां से मनाली की खुबसूरत वादियों को निहारने के लिए निकल जाते थे. इसी सर्किट हाउस से वन विहार और मनाली गांव तक सैर के लिए जाया करते थे. मनाली गांव को वर्तमान में ओल्ड मनाली के नाम से जाना जाता है. सैर के दौरान सर्किट हाउस से कुछ कदमों की दूरी पर एक चौंतड़े पर बैठा करते और चिंतन करते थे.

इस सर्किट हॉउस में नेहरू से जुड़ी यादों का खजाना है. जल-पान के लिए पंडित नेहरू, जिन बर्तनों का इस्तेमाल करते थे, वो आज भी यहां धरोहर के रूप में रखे गए हैं. चाय के कप, केतली, एश-ट्रे, टेबल लेम्प, चमच सहित कई सामान अब भी सहेज कर रखे गए हैं. इनमें से कुछ बर्तन चांदी के भी हैं. नेहरू को ऑमलेट काफी पसंद था. और ऑमलेट बनाने के लिए जिन दो फ्राइंग पेन का इस्तेमाल किया जाता था, वो आज भी यहां मौजूद है. टूट-फूट के डर से इन्हें बंद अल्मारी में रखा गया है और केवल साफ-सफाई के लिए बाहर निकाला जाता है.

 मनाली से 6 किलोमीटर दूर है नेहरू कुंड
मनाली से 6 किलोमीटर दूर एक जल-स्त्रोत है, जिसे नेहरू कुंड के नाम से जाना जाता है. पंडित नेहरू को इस कुंड का पानी बेहद पसंद था. रोहतांग दौरे के दौरान नेहरू ने पहली बार यहां का पानी पिया था. इस कुंड के पानी के प्रति भी उनकी दिवानगी जग-जाहिर है.. औषधिय गुणों से भरपूर इस कुंड का पानी बेदह स्वादिष्ट है. और इसी के चलते यह पानी दिल्ली भी ले जाया जाता था. भृगु झील इस पानी का मुख्य स्त्रोत है. नेहरू के प्रेम को देख कर ही इस वॉटर स्प्रिंग का नाम नेहरू कुंड रखा गया है.

पंचशील के सिद्धांत की पटकथा यहीं लिखी थी नेहरू ने
ऐसी जानकारी मिलती है कि पंचशील के सिद्धांत की पटकथा पंडित नेहरू ने यही लिखी थी. इसके अलावा, देश की सशक्त महिला प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की छुट्टियां बिताने की पसंदीदा जगहों में से मनाली भी है. इंदिरा पहली बार अपने पिता पंडित नेहरू के साथ ही मनाली आई थी. वह कुल्लू-मनाली की खुबसूरती, यहां की देव-संस्कृति, वेशभूषा और रहन-सहन से काभी प्रभावित थी.

इंदिरा को पंसद भी हिमाचल की संस्कृति और देव परंपरा
प्रधानमंत्री बनने से पहले और बाद में इंदिरा ने कई बार मनाली का दौरा किया. इंदिरा ने भी काफी समय मनाली में बताया है और यहां कि पारंपरिक वेशभूषा में उनके कई फोटो भी मौजूद हैं. इनके साथ ही इंदिरा गांधी के बेटे और पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी को मनाली खासी पसंद थी. वे भी कई बार यहां का दौरा कर चुके हैं. नेहरू-गांधी परिवार की मनाली दौरे की कई तस्वीरें आज भी मौजूद हैं.

अटल का आशियाना है मनाली में
पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी का मनाली के प्रति लगाव इतना ज्यादा है कि उन्होंने यहीं पर अपना आशियाना बनाया. वाजपेयी कूल्लू को अपना दूसरा घर मानते है. मनाली के साथ लगते प्रीणी गांव में अटल बिहारी वाजपेयी ने अपना घर बनाया है..वाजपेयी ने मनाली में अपना घर 1990 में बनाया था.

मोदी को भी पसंद हैं पहाड़
मौजूदा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की बात करें तो इनका भी मनाली से खासा प्रेम है. जिसका जिक्र अकसर कई मंचों से करते हैं. मनाली में समय बिताना, पैराग्लाइडिंग करना, ट्रैकिंग करना नरेंद्र मोदी को काफी पसंद है. विधानसभा चुनावों के दौरान कुल्लू में हुई रैली के दौरान पीएम नरेंद्र मोदी ने जिक्र किया था कि उन्हें पैराग्लाइडिंग यहां के स्थानीय निवासी रोशन लाल ने सिखाई थी.