भंयकर ठंड से किन्नौर के ऊपरी क्षेत्रों में नदी, नाले समेत झील व झरने जमे

ख़बरें अभी तक। इन दिनों हिमाचल प्रदेश भयंकर शीतलहर की चपेट में आ गया है। जहां एक ओर हिमाचल के निचले शहरों में ठंड ने सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए है, वहीं हिमाचल का किन्नौर जिला भी भयंकर शीतलहर की चपेट में आ गया है। किन्नौर के ऊपरी क्षेत्रों में नदी, नाले समेत झील व झरने तक जम गए हैं। समुद्र तल से 3360 मीटर की ऊंचाई पर स्थित नाको झील पूरी तरह से जम चुकी है। वहीं एनएच-5 रिकांगपिओ से काजा जाने वाले सड़क पर पानी बर्फ की सिल्लियों में तब्दील हो गया है।

किन्नौर के ऊपरी क्षेत्र में बहने वाली स्पीति नदी के दोनों छोर भी इन दिनों जम चुके हैं। कई स्थानों पर 20 से 25 फीट ऊंची बर्फ की दीवारें बन गई हैं। घरों के अंदर रसोई में रखा खाद्य तेल भी जम चुका है। यहां रहने वाले लोग दिन ढलते ही अपने अपने घरों में दुबकने को मजबूर हैं। इन दिनों नाको क्षेत्र का न्यूनतम तापमान माइनस 15 से 20 डिग्री है।

दिन के समय में भी शीतलहर चल रही है। जिस कारण यहां का ठंड खून जमा देने जैसी है। कई स्थानों पर तो दिन में ही सड़क मार्गों पर पानी के जमने से वाहन दुर्घटनाओं का भी खतरा बना हुआ है। लाहौल और स्पीति जिले में केलांग और किन्नौर जिले के कल्पा में न्यूनतम तापमान क्रमश: शून्य से नीचे 11.5 और माइनस 1.8 डिग्री दर्ज किया गया। मौसम विभाग के अनुसार 30 व 31 दिसंबर को पूरे प्रदेश में बारिश और बर्फबारी होने के आसार है।