हिमाचल: चंबा में निरंतर हो रहे भू-स्खलन से लोगों के धंस रहे घर

ख़बरें अभी तक। चंबा जिला मुख्यालय के साथ लगता पक्काटाला मोहल्ला जमींदोंज होने की कगार पर है लेकिन आज तक इसे बचाने की दिशा में कोई पग नहीं उठाए गए है। इस मोहल्ले में निरंतर हो रहे भू-स्खलन से जहां लोगों के घर धंस रहे हैं वहीं लोगों के घरों में बड़ी-बड़ी दरारें पड़ गई हैं। वहीं मोहल्ला के नीचे से सार्वजिक रास्ता भी है तथा यहां के स्कूल व कॉलेज के बच्चे रोजाना आवागमन करते हैं। इस स्थान पर ऊपर पहाड़ी से गिरने वाले पत्थर हर समय हादसे को न्यौता देते हैं वहीं कई बार इन पत्थरों की चपेट में आने से कई लोग घायल हो चुके हैं वहीं एक युवक को अपनी जान तक गंवानी पड़ी थी।

यही नहीं इस भू-स्खलन की चपेट में पक्काटाला स्कूल था वाल्मिकी मंदिर पक्काटाला भी आ चुका है। लंबे समय से यहां के बाशिंदें राजनेताओं व प्रशासनिक अधिकारियों से उनके घरों को बचाने की मांग कर रहे हैं। यहां तक कि यहां के लोग इस मुद्दे को लेकर मुख्यमंत्री से भी कई बार मिल चुके हैं लेकिन इस भू-स्खलन को रोकने के लिए कोई पग नहीं उठाए गए हैं। सारे शहर की  की नालियोन का पानी  इसी मोहल्ले से होकर गुजरती है। और इसी वजह से भी लोग काफी परेशान है। बरसात के समय में सारा नाली का गंदा पानी लोगों के घर में घुस जाता है जहां पर बड़े-बड़े गड्ढे हो चुके हैं।

यह भी यहां पर भूस्खलन का मुख्य कारण है। क्योंकि इस पानी की वजह सेयहां धीरे-धीरे जमीन धंस  रही है। क्योंकि इस मोहल्ले से जो पैदल रास्ता बालू बाजार की तरफ जाता है उसी रास्ते से पूरे शहर के शमशान घाट का भी रास्ता है। नगर परिषद नेकुछ अरसा पहले यहां रास्ते की मरम्मत के लिए कंक्रीट की दीवार तो लगा दी लेकिन वह  घरों के नीचे सुरक्षा दीवार लगाना भूल गया। अगर जल्द इस भू-स्खलन को रोका न गया तो वह दिन दूर नहीं जब यहां कोई बड़ा हादसा होगा तथा कई लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ेगी।

स्थानीय लोगों के अनुसार कई सालों से यहां भू-स्ख्लन हो रहा है जिससे जहां लोगों के घर धंस रहे हैं वहीं नीचे पत्थर लगने से कई लोग घायल भी हो चुके हैं। उनका कहना है कि इस समस्या को लेकर वह हर किसी के पास जा चुके हैं तथा यहां आकर प्रशासनिक अधिकारी तथा राजनेता दौरा तो करते हैं लेकिन आज तक इसे रोकने के लिए कोई पग नहीं उठाए गए। उनका कहना है कि उनकी रातों की नींद उड़ चुकी है तथा हर समय यही भय रहता है कि न जाने कब उनके घर नीचे नदी में समा जाएंगे।

वहीं लोगों ने बताया की मोहल्ला के नीचे से सार्वजनिक रास्ता भी है तथा यहां के स्कूल व कॉलेज के बच्चे रोजाना आवागमन करते हैं। इस स्थान पर ऊपर पहाड़ी से गिरने वाले पत्थर हर समय हादसे को न्यौता देते हैं वहीं कई बार इन पत्थरों की चपेट में आने से कई लोग घायल हो चुके हैं वहीं एक युवक को अपनी जान तक गंवानी पड़ी थी। उन्होंने सरकार से मांग की है कि जल्द इस मूस्खलन को रोकने के लिए कार्यवाही की जाए ताकि उन्हें राहत मिल सके।