हिमाचल विधानसभा मॉनसून सत्र का अंतिम दिन आज

ख़बरें अभी तक। ठियोग के विधायक राकेश सिंघा ने विवेकानंद मेडिकल रिसर्च ट्रस्ट को लीज़ पर दी गई भूमि का मामला प्रश्नकाल में उठाया.  जबाब में स्वास्थ्य मंत्री विपिन परमार ने बताया कि ट्रस्ट द्वारा सरकार से प्राप्त भूमि किसी निज़ी संस्थान को ट्रांसफर नही की गई है। कायाकल्प द्वारा सभी अंत्योदय परिवारों को व वरिष्ठ नागरिकों को इलाज़ पर 25 फीसदी छूट दी जा रही है। इसके अलावा 1 नवंबर से 28 नवंबर तक हर वर्ष लोगों को 30 फीसदी छूट दी जाती है। साथ ही ट्रस्ट के अधिग्रहण का कोई प्रस्ताव केन्द्र को नहीं भेजा गया है।

विधानसभा मॉनसून सत्र के अंतिम दिन पहले ही प्रश्न में गुंजा आउटसोर्स कर्मियों के शोषण का मामला, आउटसोर्स के लिए अभी नही बनेगी कोई ठोस नीति. हिमाचल विधानसभा मॉनसून सत्र के अंतिम दिन प्रश्नकाल में सबसे पहला सवाल आउटसोर्स कर्मचारियों को लेकर पूछा गया। ठियोग के विधायक कॉमरेड राकेश सिंह, शिलाई के कांग्रेसी विधायक हर्षवर्धन चौहान व नाचन के भाजपा विधायक विनोद कुमार ने संयुक्त सवाल में पूछा कि सचिवालय सहित विभिन्न विभागों में 15 फरवरी 2018 तक कितने कर्मचारी आउटसोर्सिंग के माध्यम से नियुक्त किए गए। इन कर्मियों के वेतन निर्धारण का फार्मूला क्या है। साथ ही सरकार क्या इन कर्मियों के लिए ठोस नीति बनाएगी। इन सदस्यों ने सवाल उठाए की आउटसोर्स कर्मियों का शोषण हो रहा है समय पर ठेकेदार समय पर वेतन नही दिया जा रहा है और वेतन भी तय मानकों से कम दिया जा रहा है। भविष्य में आउटसोर्स में क्या आरक्षण का प्रावधान किया जाएगा।

जबाब में मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर ने बताया कि 15 फरवरी 18 तक ठेकेदार के माध्यम से आउटसोर्स के आधार पर लगभग 8731 कर्मी कार्यरत थे। जिनमें से सरकारी विभागों में 5048 कर्मी नियुक्त किए है जबकि बोर्डो में 2893 व निगमों में 790 कर्मी आउटसोर्स आधार पर नियुक्त किए गए है। मुख्यमंत्री ने जबाब में ये भी बताया कि आउटसोर्स कर्मियों के वेतन का कोई मानक फार्मूला निर्धारित नही है।

गत तीन वर्षों में आउटसोर्स कर्मियों के लिए दो सौ पच्चीस करोड़ अठासी लाख छब्बीस हज़ार चार सौ पंचानवे रुपये धनराशि ठेकेदार को दी गई। मुख्यमंत्री ने ये भी जानकारी दी कि सरकार ने ठेकेदार के साथ कुछ मानक तय किए है उसी के तहत ये कर्मी रखे गए है। यदि आउटसोर्स कर्मियों का शोषण होता है सरकार ऐसे ठेकेदार के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करेगी। बाकि आउटसोर्स कर्मियों के लिए नीति बनाने का कोई विचार नहीं है। आउटसोर्स में आरक्षण का प्रावधान नहीं है न ही कोई गुंजाइश है।