खबरें अभी तक। अभी 15 दिन पहले पहाड़ों पर बरसात के कारण यमुना नदी ने अपने किनारे बसे दर्जनों गांव को बाढ़ की वजह से अपनी चपेट में ले, ग्रामीणों का जन जीवन अस्त व्यस्त कर दिया था। जिसकी वजह से कुछ ग्रामीण अभी उभर भी नहीं पाए थे कि एक बार फिर इन ग्रमीणों के मन मे डर बसने लगा है। कहीं दोबारा से यमुना इन लोगों के घरों को समेट ना ले जाए। इनका डर ये है कि आज सुबह 10 बजे हथनीकुंड बैरेज से 1 लाख 44 हजार क्यूसिक पानी छोड़ा गया है। यदि ये पानी ओर बढ़ जाता है तो इन गांव में फिर से बाढ़ आना निश्चित्त है।
यमुनानगर के हथनी कुंड बैरेज से आज सुबह 10 बजे 1 लाख 44 हजार क्यूसिक पानी छोड़े जाने से यमुना किनारे लगे दर्जनों गांव एक बार फिर खतरे की कगार पर है। यदि यह पानी लगातर बढ़ता गया तो इन गांवों में बाढ़ का आना निश्चित है ,इतना ही नहीं एक बार फिर दिल्ली के निचले इलाके पानी के खतरे की रेडार पर होंगे और ये पानी अगले 72 घंटो में दिल्ली तक पहुंचेगा।
यमुना का जलस्तर बढ़ने से एक बार फिर यमुना किनारे सटे गांव अलर्ट कर दिए गए है। अभी तक ये गांव 15 दिन पहले यमुना के पानी से आई बाढ़ की वजह से उभर भी नहीं पाए थे कि अचानक पता चलने से की यमुना नदी में 1 लाख से ऊपर पानी आ गया है तो इनकी धड़कने बढ़ने लगी है कि कहीं इस बार यमुना का कहर इन्हें समेट न ले जाये।