अदरक उत्पादन को सुधारने को लेकर नौणी विश्वविद्यालय में दिया जायेगा प्रशिक्षण

खबरें अभी तक। प्रदेश में अदरक एक प्रमुख नकदी फसल मानी जाती है व किसानों की आर्थिकी को भी प्रभावित करती है। इसी तरह सिरमौर जिला में अदरक एक प्रमुख फसल रही है, लेकिन पिछले कुछ समय से यहां पर अदरक उत्पादन में कमी भी आयी है जिस का कारण सड़न रोग को माना जाता है। अब प्रदेश की हॉर्टिकल्चर यूनिवर्सिटी नौणी  में अदरक उत्पादन को लेकर विशेष प्रशिक्षण दिया जा रहा है व उनमें जागरूकता लेने के लिए शिविर भी लगाए जा रहे हैं, ताकि किसान सही तरीके से अदरक लगा सकें। यह बात नौणी यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर डॉ परमिंदर कौशल ने बडू साहेब में वार्षिक पारितोषिक कार्यक्रम के बाद पत्रकारों से कही।

डॉ परमिंदर कौशल ने बतायाकि प्रदेश का अदरक गुणवत्ता में सबसे अलग माना जाता है व सिरमौर के अदरक में सड़न रोग की शिकायतें भी हैं, जिस का कारण मुख्यत बीज के समय उसे रोगमुक्त न करना है। अदरक उत्पादन को लेकर नौणी हॉर्टिकल्चर यूनिवर्सिटी में जागरूकता शिविर आयोजित किये जाते हैं व फील्ड केम्पों से भी किसानों को जागरूक किया जा रहा है।